आसान विज्ञान— क्या पौष्टिक आहार कद बढ़ा सकता है ?

दोस्तों, आप ने देखा होगा कि जिन लोगों को अच्छा पौष्टिक आहार मिलता है वे आम तौर पर ऊँचे, लम्बे व् स्वस्थ होते हैं;
जो बच्चे झुग्गी झोपडी में, सड़कों पर पलते हैं या गरीब परिवारों से होते हैं वे छोटे , दुबले आकर के होते हैं व् बार बार बीमार पड़ते हैं
कभी सोचा है ऐसा क्यों होता है?

हमारे भारत देश में लगभग 45 लाख बच्चे कुपोषण के शिकार हैं

**विश्व भर में 16 करोड़ , पांच वर्ष से नीचे की उम्र के बच्चे कुपोषण के कारण कुंठित शारीरिक विकास से ग्रसित हैं।
यदि गर्भवती स्त्री को सम्पूर्ण, पौष्टिक आहार नहीं मिले तो सीधा कोख में पल रहे बच्चे के विकास पर असर पड़ता है ;
स्त्री यदि पूर्ण व्यस्क न हो और छोटी उम्र में शिशु पैदा करे तब भी शिशु कम वज़न का पैदा हो सकता है;
यदि बच्चों के बीच में 2-3 वर्ष का अंतर न रखा जाये , तब भी माता और बच्चे दोनों की सेहत पर बुरा असर होता है।
क्या आप कारण बता सकते हैं?
**माता स्वयं कुपोषण का शिकार है ; पूर्ण रूप से विकसित नहीं है ; जल्दी जल्दी संतान पैदा करने के कारण उसका स्वयं का स्वास्थ ठीक नहीं है, ऐसी स्थिति में संतान पर दुष्प्रभाव होना स्वाभाविक है

संतुलित व् पौष्टिक भोजन


अब आप कहेंगे — पिछले ब्लॉग में तो लिखा था कि एक व्यक्ति की लम्बाई उसकी जीन्स पर निर्भर होती है !
बंधू , यही तो समझने की बात है, आपका शरीर अपनी जीन्स के अनुसार स्वाभाविक लम्बाई तभी लेगा अगर आप संतुलित व् पौष्टिक भोजन करेंगे,
व्यायाम करेंगे और समय से आराम भी करेंगे।

संभावित लम्बाई क्या है?
विरासत में मिली जीन्स के हिसाब से जो लम्बाई होनी चाहिए , उसे कहते हैं संभावित लम्बाई।

कैसे अनुमान लगाएं एक बालक का व्यस्क कद क्या होगा ?
एक आसान तरीका आप से साँझा कर रही हूँ —
पिता की लम्बाई …… 5’10”= 70”
माता की लम्बाई …… 5’3”= 63″
माता + पिता की लम्बाई ….. 133 “
पुत्र का कद होगा …… 133 + 5 = 138/2 =69”=5’9’”
पुत्री का कद होगा …… 133 – 5 = 128/2 =64” =5’4”
इस तरीके से आप जान सकते हैं , अनुमानित लम्बाई!

केवल 2”- 2.5” का फरक हो सकता है ऊपर या नीचे।

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आंत के कीड़े भी बच्चों के शारीरिक व् मानसिक विकास पर दुष्प्रभाव डालते हैं।

राउंडवार्म, पिंन वरम, व्हिपवर्म, फ्लूकवारम और टेपवर्म अक्सर उन बच्चों में पाए जाते हैं जो गंदे वातावरण में पलते हैं, गन्दा अधपका मांस व् बिना धुली पत्तेदार सबजियां, पत्तागोभी , गोभी आदि का सेवन करते हैं।
ये कृमि कई तरह की पेट की बीमारियां देते हैं; बच्चों में प्रोटीन की कमी पैदा करते हैं , यही कारण बनता है कुंठित शारीरिक और मानसिक विकास का। **

मित्रों, आशा करती हूँ की आप समझ गए होंगे स्वच्छ , पौष्टिक व् सम्पूर्ण भोजन का महत्व,
यह भी जान लें कि विरासत में मिले गुणों के अनुसार ही होती है कद काठी,
यदि सभी पूर्वज नाटे हैं तो 6′ लम्बाई का सपना न देखें , हाँ अपने को चुस्त व् तंदरुस्त ज़रूर रखें,
आपकी टिप्पणियों इंतज़ार रहेगा ,

रेणुका